कुछ पाकर कुछ देना जरुर
नहीं तो ये पृथ्वी रुक जाएगी
हम सभी अपनी इस जिंदगी में कुछ न कुछ किसी न किसी से लेते जरुर हैं । और लें भी तो कैसे नहीं आखिर इस जिंदगी की इतनी जरूरते जो हैं और उन जरूरतों को पूरा करने के लिए हमे सभी से कुछ न कुछ लेना आवश्यक है ।वरना हमारी जिंदगी अधूरी होगी । जब हमने इस धरती पे जनम लिया था तो हम अपने साथ कुछ भी नहीं लाये थे। ये शरीर अकेला ही था, तब हमने अपने शारीर को ढकने के लिए कपडा लिया पेट भरने के लिए भोजन लिया, समाज में रहने के लिए ज्ञान लिया, पहचान बनाने के लिए नाम लिया, जीवन सुख पाने के लिए सुविधाएँ ली लेकिन हमारा जीवन यंही तक सीमित नहीं रह गया इसके आगे भी हमने बहुत चीजें ली हैं और इन सबको लेने के लिए कुछ न कुछ दिया जरुर हैंअगर हम नहीं देते तो हमारी जिंदगी अधूरी होती ये पृथ्वी, ये समाज, ये देश, ये जीवन रुक जाता क्यूंकि ये जीवन ही लेना देना है या ये कहें की आना जाना है । हम सभी को कुछ पाने के लिए कुछ खोना पड़ता है इसलिए हम जब भी किसी से कुछ लें तो उसे कुछ न कुछ जरुर दें अगर हम ऐसा नहीं करेंगे तो हमारा जीवन सार्थक नहीं होगा और इस जीवन की क्रियाएं रुक सी जाएँगी या ये कहें की ये जीवन रुक जायेगा ।
by neha singh (17-3-2012)
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